कश्मीर के अनंतनाग और शोंपिया में सेना ने सर्च अभियान चलाते हुए 11 आतंकियों को ढेर कर लेफ्टिनेंट उमर फयाज की शहादत का बदला लिया है. बताया जा रहा है 11 आतंकियों में 2 आतंकी ऐसे है जो उमर फयाज के हत्यारे हैं. सुरक्षा बलों ने खुफिया सुचना के आधार पर कार्यवाई करते हुए आतंकियों को ढेर किया.
मुठभेड़ में कुछ जवान घायल भी हुए हैं। सभी आतंकवादी स्थानीय बताए जा रहे हैं और उनकी मौत की खबर पाकर शोपियां में बड़े पैमाने पर पत्थरबाजी शुरू हो गई, जिसमें कम से कम 50 लोग घायल हो गए हैं। प्रदर्शनकारियों को हटाने के लिए सुरक्षा बलों को पैलट गन का इस्तेमाल करना पड़ा है।
सेना की 15वीं कमांड की जीओसी एके भट्ट ने कहा कि हम लेफ्टिनेंट उमर फयाज के हत्यारों को तलाश रहे थे। इसी दौरान यह मुठभेड़ हुई। एनकाउंटर में मारे गए सभी आतंकी स्थानीय हैं। सुरक्षा बलों ने अनंतनाग से एक आतंकवादी को जिंदा पकड़ लिया है। घाटी में विरोध प्रदर्शन की आशंका को देखते हुए कई जिलों में इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया गया है।जम्मू-कश्मीर पुलिस के डीजीपी एसपी वैद्य ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि अनंतनाग और शोपियां के द्रगड़ में सैन्य अभियान खत्म हो गया है।
आतंकियों से मुठभेड़ के बाद सुरक्षा बलों और नागरिकों के बीच संघर्ष शुरू हो गया है। पुलिस ने कहा कि द्रगड़, कचदूरा और सुगान गांवों में प्रदर्शनकारियों ने सुरक्षा बलों पर पथराव किया जिसके बाद सुरक्षा बलों ने आंसू गैस के गोले फेंके और पैलेट गन का इस्तेमाल किया। शोपियां जिला अस्पताल के चिकित्सकों ने कहा कि इतने ज्यादा मरीजों का एक साथ इलाज करने में सक्षम न होने के कारण उन्होंने 20 मरीजों को श्रीनगर अस्पताल रेफर कर दिया है। आंतकियों की मौत की खबर फैलने के बाद शोपियां, अनंतनाग, कुलगाम और पुलवामा में तनाव व्याप्त हो गया।
जम्मू-कश्मीर पुलिस के डीजीपी एसपी वैद्य ने हथियार उठाने वाले कश्मीरी युवाओं के परिवार वालों से अपील की कि वे अपने बच्चों को वापस आने के लिए अपील करें। उधर, सेना के प्रवक्ता ने बताया कि शोपियां में स्थानीय लोगों ने सेना को रोकने की कोशिश की ताकि आतंकवादी भाग सकें लेकिन उन्होंने संयम बरतते हुए उन्हें हटाया। उन्होंने कहा कि शोपियां में एनकाउंटर के समय पत्थरबाजी की घटनाएं इन दिनों तेज हो गईं हैं।